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SARIT
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क्षत्रियवर्गः 2.8.48
निगालस्तु गलोद्देशो वृन्दे त्वश्वीयमश्ववत्
आस्कन्दितं धौरितकं रेचितम्वल्गितं प्लुतम्
निगाल (पुं) = अश्वगलसमीपभागः. 2.8.48.1.1
गलोद्देश (पुं) = अश्वगलसमीपभागः. 2.8.48.1.2
आश्वीय (नपुं) = अश्ववृन्दम्. 2.8.48.1.3
आश्व (नपुं) = अश्ववृन्दम्. 2.8.48.1.4
आस्कन्दित (नपुं) = अश्वगतिविशेषः. 2.8.48.2.1
धौरितक (नपुं) = अश्वगतिविशेषः. 2.8.48.2.2
रेचित (नपुं) = अश्वगतिविशेषः. 2.8.48.2.3
वल्गित (नपुं) = अश्वगतिविशेषः. 2.8.48.2.4
प्लुत (नपुं) = अश्वगतिविशेषः. 2.8.48.2.5
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