अमरकोषसम्पद्

         

विशेष्यनिघ्नवर्गः 3.1.10

गुणैः प्रतीते तु कृतलक्षणाहतलक्षणौ
इभ्य आढ्यो धनी स्वामी त्वीश्वरः पतिरीशिता

कृतलक्षण (वि) = गुणैः प्रसिद्धः. 3.1.10.1.1

आहतलक्षण (वि) = गुणैः प्रसिद्धः. 3.1.10.1.2

इभ्य (पुं) = बहुधनः. 3.1.10.2.1

आढ्य (वि) = बहुधनः. 3.1.10.2.2

धनिन् (पुं) = बहुधनः. 3.1.10.2.3

स्वामिन् (पुं) = अधिपतिः. 3.1.10.2.4

ईश्वर (पुं) = अधिपतिः. 3.1.10.2.5

पति (पुं) = अधिपतिः. 3.1.10.2.6

ईशितृ (पुं) = अधिपतिः. 3.1.10.2.7

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