अमरकोषसम्पद्

         

नानार्थवर्गः 3.3.217

दशावस्थानेकविधाप्याशा तृष्णापि चायता
वशा स्त्री करिणी च स्यात्दृग्ज्ञाने ज्ञातरि त्रिषु

दशा (स्त्री) = अनेकविधा अवस्था. 3.3.217.1.1

आशा (स्त्री) = आयता तृष्णा. 3.3.217.1.2

वशा (स्त्री) = स्त्री. 3.3.217.2.1

दृश् (स्त्री) = ज्ञानम्. 3.3.217.2.2

दृश् (वि) = ज्ञानशीलः. 3.3.217.2.2

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